प्रदेश सरकार लापरवाहियों और अति आत्मविश्वास के चलते कोरोना की तीसरी लहर भयावह मंज़र दिखाने पर आमादा : भाजपा
सात राज्यों में कुल जितने मरीज एक दिन में मिले,उससे ज़्यादा मरीज अकेले छत्तीसगढ़ में मिले; साफ़ है कि प्रदेश सरकार कोरोना की रोकथाम को लेकर केवल सियासी लफ़्फ़ाजी ही कर रही है
कई ज़िलों में कोरोना के ट्रेंड में बदलाव दिखाई देने के बावज़ूद सैंपलिंग, टेस्टिंग और कॉन्टेक्ट ट्रेसिंग पर फ़ोकस नहीं किया जा रहा, बढ़ते आँकड़े मार्च माह के आँकड़ों की याद दिला रहे हैं
तीसरी लहर रोकने का मंत्री चौबे का दावा सत्तावादी अहंकार से उपजा अति आत्मविश्वास, कोरोना की बढ़ती रफ़्तार और संकट को लेकर यह थोथा दावा सरकार की लापरवाही का संकेत
रायपुर — भारतीय जनता पार्टी के पूर्व मंत्री व भाजपा प्रदेश प्रवक्ता श्री केदार कश्यप ने प्रदेश में कोरोना संक्रमण की बढ़ती रफ़्तार को लेकर तीखा हमला बोलते हुए कहा है कि प्रदेश सरकार अपनी लापरवाहियों और अति आत्मविश्वास के चलते छत्तीसगढ़ में कोरोना की तीसरी लहर भयावह मंज़र दिखाने पर आमादा नज़र आ रही है। श्री केदार कश्यप ने कहा कि सुकमा, कोंडागाँव और कबीरधाम से राजनांदगाँव पहुँचे 35 जवानों को कोरोना संक्रमित पाए जाने के बाद तो यह आईने की तरह साफ़ हो चला है कि प्रदेश सरकार कोरोना की रोकथाम को लेकर केवल सियासी लफ़्फ़ाजी ही कर रही है।
श्री केदार कश्यप ने कहा कि देश में जहाँ कोरोना संक्रमण के मामलों में तेज़ी से कमी दर्ज़ की जा रही है, वहीं छत्तीसगढ़ में कोरोना के मामले तुलनात्मक रूप से अधिक दर्ज़ हो रहे हैं। प्रदेश में रोजाना औसतन 300 मरीज मिल रहे हैं। 15 जुलाई की स्थिति की ही चर्चा करें तो दिल्ली, उत्तरप्रदेश, हरियाणा, मध्यप्रदेश,राजस्थान, गुजरात व झारखंड में मिले मरीजों की संख्या का कुल जोड़ 321 था जबकि अकेले छत्तीसगढ़ में 333 मरीज इस दिन मिले थे! श्री केदार कश्यप ने कहा कि प्रदेश सरकार और उसके प्रशासन तंत्र ने अनलॉक करने के बाद से कोरोना गाइडलाइन के पालन के साथ-साथ नियमित जाँच और सीमावर्ती इलाकों से हो रही आवाजाही पर चौकस नज़र रखने की अपनी ज़िम्मेदारी से मुँह मोड़ लिया है, फलस्वरूप सार्वजिनक स्थानों पर भीड़ का नज़ारा हर ज़गह दिखाई दे रहा है, वहीं सामाजिक, राजनीतिक आदि आयोजनों में न तो सोशल डिस्टेंसिंग का पालन हो रहा है और न ही मास्क पहनने के लिए लोगों को प्रेरित करने का काम हो रहा है। श्री केदार कश्यप ने तो इस बात पर भी हैरत जताई कि प्रदेश के कई ज़िलों में कोरोना के मामले बढ़ने के बावज़ूद कोरोना की सैंपलिंग, टेस्टिंग और कॉन्टेक्ट ट्रेसिंग पर फ़ोकस नहीं किया जा रहा है। शासन-प्रशासन की उदासीनता के चलकते लोग कोविड सैंपल देकर घूम-फिर रहे हैं और परस्पर मेल-मुलाक़ात कर रहे हैं जबकि आईसीएमआर गाइडलाइन कहती है कि संक्रमित व्यक्ति के संपर्क में आए कम-से-कम 30 लोगों को ढूँढ़ा जाए, आइसोलेट किया जाए और सैंपल लिया जाए लेकिन इसके बजाय संक्रमित व्यक्ति से संपर्कित सिर्फ़ परिवार के सदस्यों यानी प्रति व्यक्ति के पीछे सिर्फ़ सात लोगों का ही सैंपल लिया जा रहा है।
भाजपा प्रवक्ता श्री केदार कश्यप ने कहा कि प्रदेश में बीते दो दिनों में कोरोना के ट्रेंड में एक नया बदलाव देखा जा रहा है। राजनांदगाँव में 35 जवानों के संक्रमित पाए जाने के बाद अगले ही दिन दुर्ग में 31कोरोना पॉज़ीटिव मिले। ये आँकड़े मार्च माह के आँकड़ों की याद दिलाते हैं। यह स्थिति इसलिए भी अधिक चिंताजनक है क्योंकि प्रदेश अब भी कोरोना से मुक्त नहीं हुआ है लेकिन रोजाना औसतन 300 से अधिक मरीजों के मिलने के बाद भी प्रदेश सरकार हाथ-पर-हाथ धरे बैठी है। प्रदेश के कृषि मंत्री रवींद्र चौबे के उस दावे पर भी श्री केदार कश्यप ने तीखा कटाक्ष किया जिसमें मंत्री चौबे ने प्रदेश में तीसरी लहर को रोकने की बात कही है। यह प्रदेश सरकार का सत्तावादी अहंकार से उपजा अति आत्मविश्वास है। बड़े-बड़े विशेषज्ञ और वैज्ञानिक तक कोरोना की तीसरी लहर को लेकर गंभीर चिंता जता रहे हैं, तब भी प्रदेश सरकार के प्रवक्ता के नाते मंत्री चौबे का दावा इस संकट को लेकर प्रदेश सरकार की लापरवाही का संकेत दे रहा है। ऐसे थोथे दावे करके प्रदेश सरकार कोरोना की रोकथाम के उपायों में ढिलाई बरतेगी और जब कोरोना अपनी भयावहता दिखाएगा तब फिर वही अस्पतालों में बेड की कमी, दवाओं की कालाबाज़ारी, ऑक्सीज़न-वेंटीलेटर की मारामारी, इलाज के नाम पर लूट जैसे नज़ारों से प्रदेश जूझता नज़र आएगा।