रमन राज में शिक्षा व्यवस्था थी बदहाल, 3000 स्कूल बंद किए, भूपेश सरकार ने उन्हें भी खुलवाया, नए स्कूल भी और नियमित शिक्षको की भर्ती भी की ।
इस बजट में 19489 करोड़ का सर्वाधिक प्रावधान शिक्षा के लिए, 279 स्वामी आत्मानंद उत्कृष्ट अंग्रेजी/हिंदी माध्यम स्कूल भी संचालित
नवीन आरक्षण बिल भाजपा के षड़यंत्र से राजभवन में लंबित है, जिससे नई नियुक्ति प्रभावित। रिक्त पदों पर स्थानीय स्तर पर युवाओं को अवसर
रायपुर / प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता सुरेंद्र वर्मा ने कहा है कि पूर्ववर्ती रमन सरकार के कुशासन में छत्तीसगढ़ में शिक्षा व्यवस्था बदहाल थी। नए स्कूल खोलना तो दूर लगभग 3000 स्कूल बंद किए गए, जिनमें 300 स्कूल केवल बस्तर के थे जिसे वर्तमान भूपेश सरकार ने पुनः शुरू कराए। भाजपा के 15 साल के कुशासन में एक भी पद पर नियमित शिक्षकों की भर्ती नहीं हुई थी, भूपेश बघेल सरकार ने 2 साल की सेवा अवधि पूर्ण कर चुके सभी शिक्षाकर्मियों का शिक्षक के पदों पर संविलियन किया, 14580 पदों पर नियमित शिक्षकों की भर्ती की। वर्तमान में 12500 पदों पर नियमित शिक्षकों की भर्ती प्रक्रिया चल रही है। बस्तर में बंद किए गए स्कूलों में से 275 स्कूलों को पुनः खोला गया और उन स्कूलों में शिक्षकों की पदस्थापना भी की गई।
प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता सुरेंद्र वर्मा ने कहा है कि पूर्व में छत्तीसगढ में जिला स्तर पर संचालित है मॉडल स्कूलों को भी रमन सरकार ने निजी क्षेत्र के संस्थान डीएवी को बेच दिया था। भूपेश बघेल सरकार ने उच्च गुणवत्ता युक्त शिक्षा मुहैया कराने प्रत्येक ब्लाकों में स्वामी आत्मानंद स्कूल खोले हैं। वर्तमान में 247 स्वामी आत्मानंद अंग्रेजी माध्यम विद्यालय संचालित है और इसके साथ ही 32 हिंदी माध्यम के उच्च गुणवत्ता युक्त स्वामी आत्मानंद स्कूल संचालित किए जा रहे हैं। आगामी वर्ष में 101 नए स्वामी आत्मानंद स्कूल खोलने के लिए बजट में प्रावधान किया गया हैं। प्रदेश में संचालित प्राथमिक शाला, पूर्व माध्यमिक शाला, हाईस्कूल और हायर सेकेंडरी स्कूलों में सेटअप के अनुसार व्यवस्था के अनुपालन में युक्तियुक्तकरण और स्थानांतरण भी किया गया है। छत्तीसगढ़ के भाजपाई नहीं चाहते कि छत्तीसगढ़ में नियमित पदों पर भर्तियां हो। नवीन आरक्षण विधेयक भाजपा के षड़यंत्र से राजभवन में लंबित है, जिससे नई नियुक्ति प्रभावित हो रही है। व्यवस्था के लिए रिक्त पदों पर कई जिलों में स्थानीय स्तर पर पढ़े-लिखे युवाओं को शिक्षक के तौर पर पदस्थ भी किया गया है जिनका मानदेय डीएम एंड से भी किया जा रहा है। भूपेश सरकार में सर्वोच्च प्राथमिकता शिक्षा, स्वास्थ्य, रोजगार, किसान, वनोपज संग्राहक, गोपालक और आम जनता की समृद्धि है। रमन राज में छत्तीसगढ़ में शिक्षा व्यवस्था को चौपट करने वाले भाजपाई तथ्यहीन आरोप लगाकर अनर्गल बयानबाजी कर रहे हैं।