सांसद ज्योत्स्ना चरणदास महंत ने गरिब कल्याण योजना में छत्तीगसढ़ को शामिल किये जाने प्रधानमंत्री को लिखा पत्र।

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रायपुर — कोरबा सांसद ज्योत्स्ना चरणदास महंत ने भारत के प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी को पत्र लिखते हुए कहा कि, कोविड-19 के कारण सर्वाधिक मार देष के मजदूर एवं गरीब वर्ग के लोगों को पड़ा है, जिसमें उनके सामने रोजी-रोटी का संकट उत्पन्न हो गया है, ऐसे वर्ग के कल्याण के लिए उनके हितों को ध्यान में रखते हुए हाल ही में केन्द्र सरकार द्वारा गरीब कल्याण योजना का शुभारंभ किया गया है, जिसके तहत इन्हें मुफ्त राशन एवं नकद राशि दी जायेगी । इस योजना में देश के अनेक राज्यों को शामिल किया गया है, किंतु सर्वाधिक गरीबी रेखा के नीचे जीवन-यापन करने वाला प्रदेश छत्तीसगढ़ को इस योजना में शामिल नहीं किया गया है। छत्तीसगढ़ में गरीबी रेखा के नीचे जीवन यापन करने वालो का कुल प्रतिषत 47.9 है जिसमें राष्ट्रीय औसत शहरी क्षेत्र के लिए 13.7 प्रतिषत एवं ग्रामीण क्षेत्रों में 25.7 प्रतिषत है, जबकि अन्य प्रदेश जो छत्तीसगढ़ से प्रतिशत के आधार पर कम है, जैसे उड़ीसा, मध्यप्रदेश, झारखण्ड, बिहार एवं राजस्थान जो छत्तीसगढ़ के प्रतिषत की तुलना में आधा है उसे भी इस योजना में शामिल किया गया है ।

सांसद ज्योत्सना चरणदास महंत ने कहा कि, कोविड-19 महामारी की वर्तमान परिस्थिति में छत्तीगसढ़ के मजदूर जो अपने जीवन-यापन के लिए अपने गांव को छोडकर अन्य राज्यों में प्रवास पर गये थे, उन्हें अपने-अपने घर लौटने के लिए अत्याधिक कठिनईयों को सामना करना पड़ा है उन्हे मजबूरी में अधिक किराया प्रत्येक सदस्यों को चुकाना पड़ा है तथा कई किलोमीटर की दूरी पैदल ही सफर करनी पडी है। अभी तक पॉच लाख से अधिक श्रमिक छत्तीसगढ़ वापस आ चुके है ।

सांसद ज्योत्सना चरणदास महंत ने कहा कि, प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजना में छत्तीसगढ़ को षामिल नहीं करने से यहॉ के मजदूरों को इस योजना के लाभ से वंचित होना पड़ा है तथा उन्हें घोर निराषा हाथ लगी है।
कृपया आपसे आग्रह है छत्तीसगढ़ राज्य के मजदूरों के हितों को ध्यान में रखते हुए उनके कल्याण के लिए इस योजना में छत्तीसगढ़ राज्य को भी षामिल करने हेतु समुचित निर्देष प्रदान करने का कश्ट करेगें ।

 

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