राफेल मामले पर विपक्षी दलों ने भी कहा, चौकिदार ही चोर है

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नई दिल्ली — राफेल मामले में उच्चतम न्यायालय के फिर से सुनवाई करने के लिए तैयार होने के बाद विपक्ष सरकार को लेकर हमलावर हो गया है। अमेठी में नामांकन दाखिल करने के बाद कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने कहा कि उच्चतम न्यायालय ने पाया कि चौकीदार ने चोरी की है। गरीबों का पैसा अनिल अंबानी की जेब में डाला है। उन्होंने कहा कि आज खुशी का दिन है। अदालत ने हमारी बात पर अपनी मुहर लगाई है। गांधी ने एक बार फिर से प्रधानमंत्री को 15 मिनट बहस करने की चुनौती दी है। सरकार की तरफ से केंद्रीय कानून मंत्री रविशंकर प्रसाद ने टिप्पणी की है। उनका कहना है कि यह सरकार के लिए झटका नहीं है।राहुल से पहले कांग्रेस ने प्रधानमंत्री नरेंद्र पर निशाना साधते हुए कहा कि इस मामले में सच सामने आकर रहेगा। पार्टी के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने ट्वीट कर कहा, ‘मोदी जी जितना चाहें भाग सकते हैं और झूठ बोल सकते हैं। लेकिन आज नहीं तो कल सच सामने आ जाएगा।’ उन्होंने दावा किया, ‘राफेल घोटाले की परतें एक-एक करके खुल रही हैं। अब ‘कोई गोपनीयता का कानून नहीं है’ जिसके पीछे आप छिप सकें।’
सुरजेवाला ने कहा, ‘उच्चतम न्यायालय ने कानूनी सिद्धांत को बरकरार रखा है। परेशान मोदी जी ने राफेल के भ्रष्टाचार का खुलासा करने वाले स्वतंत्र पत्रकारों के खिलाफ सरकारी गोपनीयता कानून लगाने की धमकी दी। सुरजेवाला ने कहा, ‘उच्चतम न्यायालय ने कानूनी सिद्धांत को बरकरार रखा है। परेशान मोदी जी ने राफेल के भ्रष्टाचार का खुलासा करने वाले स्वतंत्र पत्रकारों के खिलाफ सरकारी गोपनीयता कानून लगाने की धमकी दी। चिंता मत करिए मोदी जी, अब जांच होने जा रही है चाहे आप चाहें या नहीं चाहें।’

राफेल को लेकर दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने भी सरकार को घेरा। उन्होंने ट्वीट करते हुए लिखा, ‘मोदी जी हर जगह कह रहे थे कि उन्हें उच्चतम न्यायालय से राफेल में क्लीन चिट मिली है। आज के न्यायालय के फैसले से साबित हो गया कि मोदी जी ने राफेल में चोरी की है, देश की सेना से धोखा किया है और अपना जुर्म छिपाने के लिए सुप्रीम कोर्ट को गुमराह किया।’

बहुजन समाज पार्टी की मुखिया मायावती ने भी राफेल को लेकर अपनी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा, ‘राष्ट्रीय सुरक्षा की आड़ में राफेल रक्षा सौदे में भारी गड़बड़ी/भ्रष्टाचार को छिपाने की पीएम मोदी सरकार की कोशिश विफल। सुप्रीम कोर्ट में बीजेपी सरकार पूरी तरह घिरी। संसद के भीतर व बाहर बार-बार झूठ बोलकर देश को गुमराह करने के लिए मोदी माफी मांगे व रक्षा मंत्री इस्तीफा दें।’

विपक्ष जहां राफेल को लेकर एक बार फिर से मोदी सरकार पर हमलावर हो गई है। वहीं अभी तक सरकार की तरफ से कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है। बता दें कि आज उच्चतम न्यायालय अपने पूर्व के फैसले पर सुनवाई करने के लिए राजी हो गई है। पिछले साल 14 दिसंबर को अदालत ने सरकार को क्लीनचिट देते हुए अदालती निगरानी में इसकी जांच करने वाली याचिका को खारिज कर दिया था।

वामदलों ने अदालत के फैसले पर खुशी जताई। मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी के महासचिव सीताराम येचुरी ने कहा, ‘मोदी सरकार ने देश के अहम रक्षा सौदे में भ्रष्टाचार कर देश की सुरक्षा से समझौता किया। अब अदालती जांच से सच सामने आएगा।’ इस मामले में संयुक्त संसदीय समिति गठित नहीं करके और कैग से राफेल की कीमत छुपाकर मोदी सरकार ने पहले देश को गुमराह किया फिर उच्चतम न्यायालय में सुनवाई को बाधित करने की कोशिश की।

उन्होंने मोदी सरकार पर इस मामले में अदालत से ‘क्लीन चिट’ मिलने का गलत दावा करने का आरोप लगाते हुए कहा, ‘मोदी और उनकी सरकार अपनी जिम्मेदारी से बचने की लगातार कोशिश कर रही थी। इसलिए अदालत का यह फैसला महत्वपूर्ण है क्योंकि अब इस मामले के दोषियों के चेहरे सामने आ सकेंगे।’

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